25 अक्टूबर को मेरठ में दलित समाज के इंद्र शेखर की हत्या का मामला सुर्खियों में रहा था। इंद्र शेखर को जिस तरह पहले हाथ-पैर में कील ठोककर, फिर गोली मारकर पेड़ पर लटका दिया गया था, उससे सनसनी फैल गई थी। खासतौर पर आरोपी विजयपाल गुर्जर ने खुद पुलिस को फोन कर हत्या की सूचना दी थी, जिससे समझा जा सकता है कि खास समाज के लोगों मे जातीय दंभ और दलितों के प्रति नफरत कितनी ज्यादा है।
इस हत्याकांड में हुई एफआईआर में विजयपाल के साथ उसके बेटे हर्ष और भाई विजयपाल का भी नाम है। साथ ही हत्या के चश्मदीद इंद्र शेखर के बेटों ने उस दोनों के भी शामिल होने की बात कही थी। बावजूद इसके पुलिस उन्हें बचा रही है और अब तक इन दोनों की गिरफ्तारी नहीं हुई है। इसके खिलाफ मेरठ में 10 जनवरी को दलितों ने महा पंचायत बुलाई है, जिसमें हजारों लोगों के शामिल होने की खबर है। यह महा पंचायत कमिश्नरी चौक मेरठ पर होगा। इद्र शेखर मेरठ के नंगली साधारणपुर गांव का निवासी है। उनकी हत्या 25 अक्टूबर को हुई थी, जबकि 26 अक्टूबर को एफआईआर लिखी गई।

अशोक दास (अशोक कुमार) दलित-आदिवासी समाज को केंद्र में रखकर पत्रकारिता करने वाले देश के चर्चित पत्रकार हैं। वह ‘दलित दस्तक मीडिया संस्थान’ के संस्थापक और संपादक हैं। उनकी पत्रकारिता को भारत सहित अमेरिका, कनाडा, स्वीडन और दुबई जैसे देशों में सराहा जा चुका है। वह इन देशों की यात्रा भी कर चुके हैं। अशोक दास की पत्रकारिता के बारे में देश-विदेश के तमाम पत्र-पत्रिकाओं ने, जिनमें DW (जर्मनी), The Asahi Shimbun (जापान), The Mainichi Newspaper (जापान), द वीक मैगजीन (भारत) और हिन्दुस्तान टाईम्स (भारत) आदि मीडिया संस्थानों में फीचर प्रकाशित हो चुके हैं। अशोक, दुनिया भर में प्रतिष्ठित अमेरिका के हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में फरवरी, 2020 में व्याख्यान दे चुके हैं। उन्हें खोजी पत्रकारिता के दुनिया के सबसे बड़े संगठन Global Investigation Journalism Network की ओर से 2023 में स्वीडन, गोथनबर्ग मे आयोजिक कांफ्रेंस के लिए फेलोशिप मिल चुकी है।