जम्मू। वरिष्ठ पत्रकार व राइजिंग कश्मीर अखबार के संपादक शुजात बुखारी की श्रीनगर में गोली मारकर हत्या करने के बाद पूरे देश भर में आक्रोश फूट पड़ा. देश भर के पत्रकारों ने इसकी निंदा की. साथ ही हालही में कश्मीर दौरे से लौटे गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने आक्रोशित हो इस कायरना हरकत बताया है. तो वहीं मुख्मंत्री महबूबा मुफ्ती अस्पताल में शुजात बुखारी की शव को देखकर फफक कर रो पड़ी. साथ ही कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट किया, ‘वह बहुत बहादुर थे जिन्होंने जम्मू कश्मीर में न्याय और शांति के लिए निडरता से संघर्ष किया. मेरी संवेदना उनके परिवार के प्रति है. वह बहुत याद आएंगे.’
हत्यारों की तस्वीरें कैद
खबरों की मानें तो हमलावरों की तस्वीर सीसीटीवी में कैद हो गई है. पुलिस इनकी खोजबीन में जुट गई है. बता दें कि कल 14 जून को शुजात बुखारी की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस दौरान शुजात बुखारी के अंगरक्षकों पर भी हमला किया गया. हालांकि गोली लगने पर अस्पताल ले जाया गया लेकिन डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया.
मौत से पहले शुजात बुखारी ने लिखा…
देश के जाने माने पत्रकारों में शुजात बुखारी अपने बेखौफ अंदाज वाली पत्रकारिता के लिए जाने जाते हैं. मृत्यु से कुछ समय पहले ही शुजात बुखारी ने ट्विटर पर तब अपने काम का जबर्दस्त बचाव किया जब दिल्ली के कुछ पत्रकारों ने उन पर कश्मीर को लेकर ‘पक्षपातपूर्ण रिपोर्टिंग’ करने आरोप लगाया. आखिर ट्वीटों में एक में लिखा था, ‘कश्मीर पर पहली संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार रिपोर्ट मानवाधिकार उल्लंघन की अंतरराष्ट्रीय जांच की मांग करती है. कश्मीर में हमने पत्रकारिता गर्व के साथ की है और जमीन पर जो कुछ होगा, हम उसे प्रमुखता से उठाते रहेंगे.’ इनकी ये बातें जिम्मेदार पत्रकारिता को दर्शाती है.
मौत के बाद भी निकला अखबार
शुजात बुखारी की हत्या के बाद भी राइजिंग कश्मीर आंतकियों को चोट करता हुआ प्रकाशित किया गया. अखबार के मुख्य पृष्ठ के जरिए शुजात बुखारी को श्रध्दांजलि दी गई. साथ ही काले रंग के जरिए संदेश दिया गया. वैसे कई पत्रकारों ने लिखा है कि इससे कश्मीर व पत्रकार की आवाज नहीं दबने वाली. गोली चलती रहे, जान जाती रहे लेकिन कश्मीर की आजाद आवाज मुल्क के कोने-कोने में जाएगी.
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