ग्वालियर। मध्यप्रदेश के गुना-शिवपुरी से ज्योतिरादित्य सिंधिया के ख़िलाफ़ चुनाव मैदान में खड़े बहुजन समाज पार्टी के उम्मीदवार लोकेंद्र सिंह राजपूत कांग्रेस में शामिल हो गए हैं. यह दलबदल तब हुआ है जब आने वाले शनिवार को मायावती गुना में रैली करने वाली हैं. बहुजन समाज पार्टी और मायावती के लिए यह एक बड़ा झटका माना जा रहा है. अब बसपा को इस सीट से नया प्रत्याशी ढूंढने की चुनौती होगी.

लोकेंद्र सिंह राजपूत ने सिंधिया की मौजूदगी में कांग्रेस की सदस्यता ली. ज्योतिरादित्य सिंधिया इस सीट से 4 बार चुनाव जीत चुके हैं. उनका मुकाबला बीजेपी के केपी यादव से हैं, केपी यादव भी पहले सिंधिया के क़रीबी हुआ करते थे. आपको बता दें कि बीएसपी नेता को कांग्रेस में शामिल करने के फैसले पर बीएसपी सुप्रीमो मायावती और कांग्रेस के बीच खटास और बढ़ सकती है क्योंकि एक तो मायावती मध्य प्रदेश में गठबंधन को लेकर कांग्रेस के रवैये से खासे नाराज हैं. दूसरी ओर उत्तर प्रदेश में दलितों के बीच प्रियंका गांधी के पैठ बनाने की कोशिशों के चलते उन्होंने महागठबंधन में कांग्रेस को शामिल नहीं होने दिया. रैलियों में भी मायावती बीजेपी के साथ-साथ कांग्रेस पर जमकर प्रहार कर रही हैं.

गौरतलब है कि गुना-शिवपुरी संसदीय सीट सिंधिया परिवार का गढ़ मानी जाती है. ज्योतिरादित्य सिंधिया पांचवीं बार गुना संसदीय क्षेत्र से मैदान में हैं. बीते चार चुनाव उन्होंने लगातार जीते हैं. इस बार उनका मुकाबला बीजेपी के उम्मीदवार केपी यादव से है. गुना-शिवपुरी सीट पर 12 मई को वोट डाले जाएंगे.
जहां तक लोकेंद्र सिंह राजपूत की बात है तो वो हाल तक बसपा प्रत्याशी के तौर पर चुनाव प्रचार कर रहे थे. वो ज्योतिरादित्य सिंधिया को भी सीधे चुनौती देते हुए चुनाव मैदान में थे. चुनाव प्रचार के दौरान उनका निशाना सिंधिया पर ही ज्यादा था. ऐसे में बसपा के लिए यह बड़ा सवाल बना हुआ है कि आखिर एकाएक ऐसा क्या हुआ कि वो मायावती की रैली के ठीक पहले कांग्रेस में शामिल हो गए.